------ तर्ज:- तुम दिल की धड़कन में ------
------फिल्म :- धड़कन------
तुम मेरे सपनन में, रहती हो रहती हो,
मन मंदिर में आजाओ, ज्ञान का दीप जला जाओ || तुम ||
तुम दुर्गा महारानी हो, जग जननी कल्याणी हो,
काली हो, महाकाली हो, शक्ति रूप भवानी हो,
जन जन के जीवन में रहती हो, रहती हो || मन ||
भक्तजानों को तार दिया, दुष्टों का संहार किया,
जब धरती पर पाप बढ़ा, माँ तुमने अवतार लिया,
धरती के कण कण में रहती हो रहती हो || मन ||
द्वार मिले दरबार मिले मैया का दीदार मिले,
"पदम्" को कुछ भी चाह नहीं माँ का हर दम प्यार मिले,
ममता के बंधन में रहती हो रहती हो || मन ||
-: इति :-
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